षष्ठ भाव में मंगल का फल | Mars in Sixth House
षष्ठ भाव में मंगल का फल | Mars in Sixth House | मंगल छठे भाव / स्थान में है तो आप बलवान, धैर्यशाली, शत्रुहंता एवं अधिक व्यय करने वाले होंगे। ऐसा जातक प्रसिद्ध होता है विद्वानों से मैत्री तथा उपक्रमों में सफलता प्रदान करता है। आप के अनेक शत्रु होंगे परन्तु शत्रुओं पर आपकी विजय होगी इसमें कोई संदेह नहीं। आप अपने शत्रुओ से सीधे सामना करने की योग्यता रखते हैं।
यदि छठे भाव में मंगल नीच का हो या कमजोर हो तो जातक कभी न कभी धोखे का शिकार अवश्य होगा। निर्भीक किन्तु रोगों से कष्ट पाने वाला बनाता है। आयु का 34वां वर्ष लाभकारी होता है।
षष्ठ भाव में मंगल और परिवार | Mars in Sixth House and Family
यदि मंगल इस भाव में नीच का होकर स्थित है तो मात के सुख में कमी होती है। आपके पिताजी स्वभाव से रूखे गुस्सैल हो सकते हैं। मंगल की यह स्थिति आपके मामा या मौसी को भी कुछ नकारात्मक परिणाम दे सकती है। आपके बच्चे जुबान के कडवे हो सकते हैं।छठे भाव का मंगल आपके छोटे भाई बहनों के लिए भी शुभफलदायी नहीं होगा। अन्य ग्रहों की शुभता पाकर छठे भाव का मंगल आपके पिताजी को भी शक्तिशाली और प्रतिष्ठित बनाएगा। जिसके कारण आपके पिताजी किसी बडे पद पर पदासीन हो सकते हैं। हो सकता है कि आप व्यवसाय की अपेक्षा नौकरी को अधिक वरीयता दें।
इस भाव का मंगल अपने मातृपक्ष मामा आदि के लिए सुख प्रदान करने वाला नहीं होता है बल्कि कष्ट प्रदान करने वाला होता है। व्यक्ति को मातृकुल से सुख न के बराबर ही मिलता है। यहाँ मंगल होने मामा के धन का नुकसान होता है परन्तु बाद में धन लाभ भी होता है। आपको अपने नौकरों से परेशानी हो सकती है।
षष्ठ भाव में मंगल और मनोविज्ञान | Mars in Sixth and Psychology
आप कुछ हद तक क्रोधी और तीक्ष्ण बुद्धि हो सकते हैं। आप अपने दुश्मनों को कुचलने की ताकत रखते हैं। लोकप्रियता पाने के चक्कर में और जानवरों के द्वारा आपको नुकसान हो सकता है।आप एक विवेकवान व्यक्ति हैं। आप बलवान व्यक्ति हैं। आप पारिवारिक अथवा गुप्त अकार्य के कारण आत्महत्या( Suicide ) करने का भी प्रयास करेंगे। आप कभी कभी अपने को शारीरिक तथा मानसिक रूप से त्रस्त अनुभव करेंगे। आपको अपने जीवन में कभी-कभी ऐसी आकस्मिक घटनाओं का सामना करना पडेगा की आपको उससे निबटने का मौका भी नहीं मिलेगा। ऐसा जातक गुप्त शक्तियों के प्रति विशेष रूप से आकृष्ट होता है।
मंगल ग्रह का चित्र
षष्ठ भाव में मंगल और स्वास्थ्य | Mars in Sixth House and Health
यहां स्थिति मंगल के कारण आपको फोडे फुंसियों और जलने का भय बना रहता है। यदि मंगल यहाँ स्थिर राशि अर्थात वृष, सिंह, वृश्चिक तथा कुम्भ राशि स्थिर राशि होता है यदि इस राशि में मंगल षष्ठ भाव में है तो मूत्रकृच्छा रोग / Kidney ( गुर्दों के रोग जिसमे पेशाब में रुकावट होती है इस रोग में पेशाब करने में बहुत ही जलन होती है )। ऐसे व्यक्ति को ह्रदय रोग (Heart diesese ) भी हो सकता है। यदि द्विस्वभाव राशि में मंगल छठे भाव में होता है वैसे जातक को छाती और फेफड़ों के रोग होते है। यदि चर राशि का मंगल षष्ठ भाव में स्थित है तो वैसे जातक को यकृत रोग, गंजापन तथा सन्धिवात जैसे रोग होते है।
षष्ठ भाव में मंगल, आर्थिक एवं व्यावसायिक स्थिति | Mars in Sixth House and Economic condition
आप अपनी मेहनत से खूब कमाएंगे और अपनी सभी इच्छाओं की पूर्ति करेंगे। प्रतियोगिता के आधार पर आपकी नौकरी लग सकती है। आप एक अच्छे सर्जन डॉक्टर बन सकते है और खुभ पैसा कमा सकते है। यदि आप खेल में अपना कैरियर बनाना चाहते है तो आप सफल हो सकते है। आप एक अच्छे खिलाडी बनकर देश एवं परिवार का नाम रौशन कर सकते है। परन्तु मंगल के साथ कुंडली में अन्य योग का होना भी जरूरी है। आप व्यवसाय भी कर सकते है किन्तु व्यवसाय में जल्दबाजी उचित नहीं होगा धैर्य से काम लेने से ही व्यवसाय में वृद्धि होगी।
षष्ठ भाव का मंगल जातक में अपार शक्ति का संचार करता है और वह सर्वदा विजयी होता है तथा उसके शत्रुओ का नाश होता है। ऐसा जातक यदि राजनीति में अपना कैरियर बनाना चाहता है तो ठीक रहेगा आप उसमे सफल होंगे।